Solan News: करुणामूलक संघ ने मांगीं वन टाइम सेटलमेंट नौकरियां
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कैबिनेट बैठक में लगाया जाएगा संघ की मांगों का मुद्दाTrending Videos
करुणामूलक संघ का प्रतिनिधिमंडल मिला मुख्यमंत्री से
संवाद न्यूज एजेंसी
सोलन। करुणामूलक संघ का एक प्रतिनिधिमंडल प्रदेशाध्यक्ष अजय कुमार की अध्यक्षता में मुख्यमंत्री से ओकओवर में मिला। उन्होंने मांग उठाई कि इन्हें वन टाइम सेटलमेंट नौकरी एक साथ दी जाए और विधानसभा चुनाव के समय किए गए सभी वादे पूरे किए जाएं। इस दौरान उन्होंने सीएम को बताया कि संघ के सदस्य 25 से 30 सालों से नौकरी का इंतजार कर रहे हैं।
प्रदेश अध्यक्ष अजय कुमार ने कहा कि सरकार शनिवार को होने वाली कैबिनेट बैठक में करुणामूलक परिवारों का एजेंडा लाएं और इस एजेंडे पर चर्चा करके उनके हित में फैसला दें। उन्होंने मांग उठाई कि कैबिनेट में पॉलिसी संशोधन किया जाए जिसमें 62,500 एक व्यक्ति सालाना आय शर्त को खत्म किया जाए और आय सीमा को 2.50 लाख से ज्यादा बढ़ाया जाए।विज्ञापन
वित्त विभाग के द्वारा रिजेक्टेड केसों को कंसिडर न करने की नोटिफिकेशन को तुरंत प्रभाव से रद्द कर दिया जाए और रिजेक्टेड केसों को दोबारा कंसिडर करने की नोटिफिकेशन जल्द की जाए। पांच फीसदी कोटे की शर्त को हमेशा के लिए हटा दिया जाए व जिन विभागों बोर्डाें, निगमों और यूनिवर्सिटी में खाली पोस्टें नही है उन केसों को अन्य विभाग में शिफ्ट करके नौकरियां दी जाएं। योग्यता के अनुसार सभी श्रेणियों के पदों में नौकरियां दी जाएं ताकि एक पद पर बोझ न पड़े। इस दौरान राज्य मीडिया प्रभारी गगन कुमार समेत कई सदस्य मौजूद रहे।
करुणामूलक संघ का प्रतिनिधिमंडल मिला मुख्यमंत्री से
संवाद न्यूज एजेंसी
सोलन। करुणामूलक संघ का एक प्रतिनिधिमंडल प्रदेशाध्यक्ष अजय कुमार की अध्यक्षता में मुख्यमंत्री से ओकओवर में मिला। उन्होंने मांग उठाई कि इन्हें वन टाइम सेटलमेंट नौकरी एक साथ दी जाए और विधानसभा चुनाव के समय किए गए सभी वादे पूरे किए जाएं। इस दौरान उन्होंने सीएम को बताया कि संघ के सदस्य 25 से 30 सालों से नौकरी का इंतजार कर रहे हैं।
प्रदेश अध्यक्ष अजय कुमार ने कहा कि सरकार शनिवार को होने वाली कैबिनेट बैठक में करुणामूलक परिवारों का एजेंडा लाएं और इस एजेंडे पर चर्चा करके उनके हित में फैसला दें। उन्होंने मांग उठाई कि कैबिनेट में पॉलिसी संशोधन किया जाए जिसमें 62,500 एक व्यक्ति सालाना आय शर्त को खत्म किया जाए और आय सीमा को 2.50 लाख से ज्यादा बढ़ाया जाए।
वित्त विभाग के द्वारा रिजेक्टेड केसों को कंसिडर न करने की नोटिफिकेशन को तुरंत प्रभाव से रद्द कर दिया जाए और रिजेक्टेड केसों को दोबारा कंसिडर करने की नोटिफिकेशन जल्द की जाए। पांच फीसदी कोटे की शर्त को हमेशा के लिए हटा दिया जाए व जिन विभागों बोर्डाें, निगमों और यूनिवर्सिटी में खाली पोस्टें नही है उन केसों को अन्य विभाग में शिफ्ट करके नौकरियां दी जाएं। योग्यता के अनुसार सभी श्रेणियों के पदों में नौकरियां दी जाएं ताकि एक पद पर बोझ न पड़े। इस दौरान राज्य मीडिया प्रभारी गगन कुमार समेत कई सदस्य मौजूद रहे।
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